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→Not proofread: Created page with "<noinclude>{{start center block}}</noinclude> <poem> {{pcn|(४)}} चन्द्र-मुकुटमा, गालामा- दूर्वा-माला, कपोलमा भुमरा । तुन्दिल मङ्गलमूर्ति प्रभु स्मरणै छ शान्तिको छहरा ॥ {{pcn|(५)}} सिन्दूर-तिलक धारी वसन्त-बालाऽर्क- झैँ अरुण । स..." |
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चन्द्र-मुकुटमा, गालामा- | चन्द्र-मुकुटमा, गालामा- | ||
दूर्वा-माला, कपोलमा भुमरा । | ::दूर्वा-माला, कपोलमा भुमरा । | ||
तुन्दिल मङ्गलमूर्ति | तुन्दिल मङ्गलमूर्ति | ||
प्रभु स्मरणै छ शान्तिको छहरा ॥ | ::प्रभु स्मरणै छ शान्तिको छहरा ॥ | ||
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सिन्दूर-तिलक धारी | सिन्दूर-तिलक धारी | ||
वसन्त-बालाऽर्क | ::वसन्त-बालाऽर्क झैँ अरुण । | ||
सदय वराऽभय-पाणि | सदय वराऽभय-पाणि | ||
प्रभुको गर्छू झुकी सदा स्मरण ॥ | ::प्रभुको गर्छू झुकी सदा स्मरण ॥ | ||
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(४)
चन्द्र-मुकुटमा, गालामा-
दूर्वा-माला, कपोलमा भुमरा ।
तुन्दिल मङ्गलमूर्ति
प्रभु स्मरणै छ शान्तिको छहरा ॥
(५)
सिन्दूर-तिलक धारी
वसन्त-बालाऽर्क झैँ अरुण ।
सदय वराऽभय-पाणि
प्रभुको गर्छू झुकी सदा स्मरण ॥